चलो कुंडल पुर जाएंगे
चलो कुंडल पुर जाएंगे
कुंडल पुर जाएंगे
धरती के स्वर्ग कि धरा को
हम चूम आएंगे
ऋषि मुनियों का संगम
वहां कुंभ है भारी
बहती ज्ञान गंगा में
हम डुबकी लगाएंगे
दिगम्बर संतो के
हम दर्शन को जाएंगे
उनके चरणों कि रज को
माथे से लगाएंगे
होगा जीवन सफल अपना
मोक्ष कि राह पाएंगे
साक्षात भगवान इस युग के
दर्शन उनके पाएंगे|
पंच कल्याणक बढ़ा भारी,
ऋषिवर ने बुलाया है
बड़े बाबा के मंदिर के
दर्शन को हम भी जाएंगे
आचार्य श्री के दर्शन को
हम भी जाएंगे
चलो कुंडल पुर जाएंगे
कुंडल पुर जाएंगे
वहां की पावन रज को
माथे से लगाएंगे
प्रतिभा जैन
टीकमगढ़ मध्यप्रदेश